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कांग्रेस - भाजपा में आरोप प्रत्यारोप से गरमाया चुनावी बाजार, भूपेश के आरोपों पर कौशिक ने दिए उत्तर

रायपुर 13 नवंबर 2017 (जावेद अख्तर). छत्तीसगढ़ में जैसे-जैसे चुनावी मानसून निकट आता जा रहा है वैसे-वैसे कांग्रेस और भाजपा में आरोप प्रत्यारोप का खेल शुरू हो गया है, जिससे प्रदेश की राजनीति का बाजार गर्म होने लगा है। इसके साथ ही अजीत जोगी अपनी नई पार्टी जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जे) साथ रणभूमि में उतर चुके हैं और आम आदमी पार्टी भी बदलबो छत्तीसगढ़ स्लोगन के साथ संकल्प यात्रा कर लोगों के बीच पहुंच रही है।


प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष भूपेश बघेल ने आज 13 नवंबर से शुरू हो रही पदयात्रा को लेकर प्रेसवार्ता में झीरम घाटी हमला एवं अंतागढ़ टेपकांड को रमन सिंह का ब्रह्मास्त्र बताया, रमन सरकार के मंत्री की हालिया सीडी कांड को लेकर भी उन्होंने तीखा हमला बोला। जिसके प्रतिउत्तर में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष धरमलाल कौशिक ने कांग्रेस को मुद्दाविहीन व नेतृत्वहीन पार्टी बताया। जहां एक तरफ भाजपा अपने प्लेटफॉर्म को मजबूत करने में जुट गई है तो वहीं दूसरी तरफ कांग्रेस अपने लिए प्लेटफॉर्म तैयार करने में भिड़ गई है। जिसके चलते रस्साकशी अभी से शुरू हो गई है। इन दोनों दलों के अलावा इस बार छग के प्रथम व पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी अपनी नई पार्टी जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जे) साथ रणभूमि में उतर चुके हैं और अधिकार यात्रा व सत्ता पलट यात्रा द्वारा प्रदेश के सभी इलाकों में पहुंच रहे हैं। तो वहीं आम आदमी पार्टी भी बदलबो छत्तीसगढ़ स्लोगन के साथ संकल्प यात्रा कर लोगों के बीच पहुंच रही है। आप द्वारा सभी विस सीटों पर प्रत्याशी उतारने की बातें भी सामने आई हैं, हालांकि अभी तक आप के मुखिया व दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने इस तथ्य को लेकर कोई औपचारिक रूप से घोषणा नहीं की है मगर संभावनाएं प्रबल है। 

नोटबंदी वर्षगांठ पर मनाया काला दिवस, जमकर चले पत्थर - 
पिछले सप्ताह रायपुर के गुढ़ियारी में नोटबंदी के एक वर्ष पूरे होने पर कांग्रेस के काला दिवस मनाने के दौरान दोनों पार्टी के कार्यकर्ताओं के बीच जमकर पत्थरबाजी हुई, जिसमें लगभग तीन दर्जन से भी अधिक कार्यकर्ता घायल हुए। वहीं भूपेश बघेल के खिलाफ जुर्म दर्ज किया गया जिस पर नाराजगी जाहिर करते हुए भूपेश ने कहा कि 'अब प्रदेश में प्रशासनिक आतंकवाद के साथ ही राजनीतिक आतंकवाद भी शुरू हो रहा है। 

झीरम घाटी हमला किसका था ब्रम्हास्त्र - 
झीरम घाटी कांड को लेकर भी राज्य सरकार पर सबसे गंभीर आरोप लगाते हुए पीसीसी चीफ भूपेश ने कहा कि 'रमन सिंह के ब्रम्हास्त्र से झीरमघाटी हमला हुआ और कांग्रेस के कई शीर्ष नेता मारे गए थे। रमन सिंह का ब्रम्हास्त्र अंतागढ़ में भी चला और टेपकांड सामने आया। तो वहीं अंतागढ़ टेपकांड में मुझे फंसाने की कोशिश भी की गई। मैं जब-जब राजनांदगांव जाने की बात करता हूं तब-तब मेरे खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाता है। राज्य सरकार किस बात से इतनी ज्यादा भयभीत है। वहीं कांग्रेस छोटे मोटे प्रदर्शन करती है तो संगीन धराएं लगाई जाती हैं। रमन सिंह का ब्रम्हास्त्र गुढ़ियारी में भी चला और कांग्रेस नेताओं पर पथराव किया गया और उलटा मेरे खिलाफ ही बलवा का जुर्म दर्ज किया गया।

उन्होंने सीडी कांड को लेकर दावा किया कि अंतागढ़ टेपकांड की तरह ही सीडी कांड का भी पर्दाफाश होगा। अंतागढ़ टेपकांड की जांच सीबीआई से नहीं कराने और मंत्री की सीडी कांड में सीबीआई जांच को लेकर उन्होंने राज्य सरकार की कार्यशैली और प्रणाली को दोतरफा बताते हुए सवालिया निशान लगाए। सीडी कांड में शिकायतकर्ता द्वारा लैंडलाइन से की गई कॉल डिटेल को सार्वजनिक करने की मांग भी रखी। 

पदयात्रा का शुभारंभ डोंगरगढ़ से - 
भूपेश बघेल ने कहा कि '13 नवंबर से राजीव गांधी पंचायतीराज संगठन की ओर से पदयात्रा शुरू की जा रही है, इस पदयात्रा में भूपेश खुद 90 किलोमीटर पदयात्रा करेंगे। उन्होंने बताया कि इसकी शुरूआत डोंगरगढ़ से मां बम्लेश्वरी के दर्शन के साथ होगी। मां बम्लेश्वरी के दर्शन के बाद डोंगरगढ़ के ग्राम अछोली से पदयात्रा का शुभारंभ करेंगे। पदयात्रा में महिला कांग्रेस, युवा कांग्रेस, किसान कांग्रेस, आदिवासी कांग्रेस, अनुसूचित जाति कांग्रेस, पिछड़ा वर्ग कांग्रेस शामिल होंगे। इस पदयात्रा का समापन 18 नवंबर को भिलाई के खुर्सीपार में होगा, जिसमें प्रदेश प्रभारी पीएल पुनिया भी उपस्थित होंगे।

भूपेश ने कहा कि सीएम के निर्वाचन क्षेत्र में वे सूखा राहत, समर्थन मूल्य, सिंचाई के लिए पानी, बेरोजगारी भत्ते जैसे तमाम मुद्दे उठाएंगे। वहीं आज से शुरू हो रही पदयात्रा की सुरक्षा को लेकर उन्होंने कहा कि झीरम के बाद हम हर घटना के लिए तैयार हैं। 

झीरमघाटी हमला कांग्रेस की अंतर्कलह और वर्चस्व का है नतीजा - धरमलाल कौशिक
झीरमघाटी नक्सल हमला रमन का ब्रम्हास्त्र था, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष भूपेश बघेल के इस सनसनीखेज आरोप पर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष धरमलाल कौशिक ने उत्तर देते हुए कहा कि - झीरमघाटी हमला किसी का ब्रम्हास्त्र नहीं था, बल्कि यह कांग्रेस की अंतर्कलह और वर्चस्व का नतीजा रहा है। उन्होंने कहा कि भाजपा ने अपने जन्म से लेकर अब तक ऐसी ओछी राजनीति नहीं की है और न ही ऐसी सोच रखती है। भाजपा प्रजातंत्र पर विश्वास करने वाली पार्टी है। देश के किसी राजनीतिक दल में यदि प्रजातंत्र का पालन किया जाता है, तो भाजपा ही इकलौती पार्टी है।

यूपीए ने जांच कराई मगर खुलासा नहीं किया - 
धरमलाल कौशिक ने भी जवाबी हमला करते हुए कहा कि जिस वक्त झीरम घाटी घटना घटी, उस दौरान केंद्र में कांग्रेस नेतृत्व वाली यूपीए की सरकार थी। वहीं यूपीए सरकार ने पूरे मामले की एलआईजी से जांच कराई। जांच रिपोर्ट के आधार पर यूपीए ने कोई भी कदम नहीं उठाया और न ही जांच का खुलासा किया। तब से लेकर आज तक, हम खुद चाहते हैं कि मामले का खुलासा हो, घटना के पीछे की असली कहानी उजागर हो, लेकिन यह अब तक नहीं हो सका है। संभवतः यूपीए सरकार जांच रिपोर्ट को दबाकर अकारण का मुद्दा बना कर सहानुभूति प्राप्त करना चाहती है मगर प्रदेश की जनता समझदार है सही गलत में फर्क पहचानती है इसलिए कांग्रेस का ये दांव चलने वाला नहीं है। 

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने दिए उत्तर - 
बघेल के बयानों पर टिप्पणी करते हुए कौशिक ने कहा कि उनके ऐसे बयानों से भाजपा या रमन सिंह की सेहत पर कोई असर नहीं पड़ने वाला है। भाजपा अपने एजेंडे पर काम कर रही है, जिसका प्रमाण तीन बार प्रदेश में बहुमत से सरकार बनना है, इस बार भी जनता का आशीर्वाद भाजपा को मिलेगा क्योंकि प्रदेश की जनता और अपने किए गए कामों पर विश्वास है और इसी विश्वास के बूते चौथी बार भी छग में भाजपा की सरकार बनाएंगे। 

मुद्दाविहीन व नेतृत्वहीन पार्टी है कांग्रेस -
पत्थरबाजी की घटना को लेकर रमन सरकार को जिम्मेदार ठहराने वाले भूपेश बघेल के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए धरमलाल कौशिक ने कहा कि राजेश मूणत के खिलाफ फर्जी सीडी कांड के सामने आने के बाद उनके बंगले में जाकर नारेबाजी करने वाले पहले कांग्रेसी थे। कांग्रेसियों की नारेबाजी का जवाब भाजपा युवा मोर्चा ने दिया था। उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस हमारे कार्यकर्ताओं को बार-बार उकसाने की कोशिश कर रही है, लेकिन हम अपने कार्यकर्ताओं को धैर्य के साथ रहने की समझाइश देते हैं। कौशिक ने कहा कि प्रदेश में कांग्रेस मुद्दाविहीन और नेतृत्वहीन पार्टी है। कांग्रेस के पास कोई मुद्दा नहीं है, जनाधार नहीं है और न ही नेतृत्व है। इस तरह के हथकंडे अपनाकर ही कांग्रेसी जनता के बीच बने रहने की कोशिश में लगे हुए हैं।