Breaking News

मंत्री मूणत पर भड़के ग्रामीण, मंत्री के झूठ पर अब कराएंगे एफआईआर

रायपुर 04 सितंबर 2017 (जावेद अख्तर). छग में सड़क निर्माण को लेकर पीडब्लूडी व परिवहन मंत्री राजेश मूणत सोशल मीडिया के जरिए अपनी राजनीति चमकाने के लिए निरंतर प्रयासरत हैं परंतु उनकी ये कोशिशें ही उनके गले की हड्डी बन गई है। अभी हाल ही में मंत्री राजेश मूणत सोशल मीडिया के फेसबुक पर रायगढ़ पुल के गलत पोस्ट के कारण अपनी छीछालेदर कराने के बाद सार्वजनिक रूप से माफी मांग ली थी।


मगर मंत्री मूणत ने जशपुर में बनी सड़क की फोटो को फेसबुक पर पोस्ट किया है और अपनी उपलब्धियां गिना गये हैं। जबकि वास्तविक रूप में ऐसी शानदार सड़क पूरे जिले में कहीं नहीं है, यहां तक कि राजधानी रायपुर में भी ऐसी बेहतरीन सड़क नहीं बना सका है पीडब्लूडी विभाग, जशपुर की तो बात ही छोड़िए। छग में बने गौरवपथ की हालत सबके सामने आ ही चुका है। इस भ्रामक पोस्ट को लेकर प्रदेश के लोगों ने मंत्री मूणत का उपहास उड़ा रहे, भद्दे कमेंट्स कर रहे और मजाक उड़ा रहे। 

फिर से किया फर्जी पोस्ट - 
कई बार सोशल मीडिया पर किए गए खुद के पोस्ट, खुद के लिए भारी मुसीबत बन जाती है, ठीक ऐसा ही छत्तीसगढ़ के लोक निर्माण मंत्री राजेश मूणत के साथ हुआ। लोकनिर्माण मंत्री के आधिकारिक फेसबुक पेज से शनिवार को एक फोटो पोस्ट हुई। इसके परिचय में लिखा गया, जिला जशपुर, ग्राम सन्ना से 32 किलोमीटर रोड निर्माण का दृश्य। विभाग की उपलब्धि बता गए। जिस जशपुर से सन्ना रोड़ 32 किलोमीटर की बताई गई है दरअसल यह रोड मात्र 14 किलोमीटर ही बन पाई है और पहली बरसात में ही जर्जर हो गई है। मंत्री राजेश मूणत के फेसबुक में सड़क निर्माण के संबंध में पोस्ट डालने से उस क्षेत्र के ग्रामीण आगबबूला हो गए है।

भक्त हुए लबरेज गढ़ डाले कसीदे - 
इस चकाचक सड़क की तस्वीर देखकर लोगों और भक्तों ने विकास के कसीदे पढ़ने शुरू कर दिए। किसी ने छग की सड़क की तुलना सिंगापुर और दुबई की सड़कों से कर दिया। मंगलवार शाम तक इस तस्वीर को 1993 लाइक और 1322 शेयर मिल चुके हैं।

असलियत खुली तो उड़ा मंत्री का मजाक - 
जब जशपुर के लोगों की नजर इस तस्वीर पर पड़ी, तब असलियत वाली फोटो पोस्ट करते हुए आलोचनाएं शुरू हो गईं। जशपुर के एक यूजर सागरप्रताप नायक ने लिखा कि जितने लोग इस सड़क की तारीफ कर रहे हैं एक बार जाकर उसको देखें, पता चल जाएगा। नीतेश तिवारी नाम के एक सज्जन ने लिखा कि यह क्या बकवास है? मैं यहीं रहता हूं, रोड तो दिखी ही नहीं एेसी। कहीं दूसरे गोला में तो नहीं बनाके आ गए। सौरभ ने लिखा कि मंत्री जी कमीशन कम कर दीजिए और अपने लोगों को ठेका देना बंद कर दीजिए, ऐसी ही चकाचक सड़क बन जाएगी। प्रीति पटेल ने लिखा कि काश ऐसी सड़कें भी छग में बनती। क्योंकि वर्तमान में तो गड्ढों के बीच बीच में सड़कों का निर्माण करते हैं हमारे मंत्री जी। 

ग्रामीण दर्ज करवाने जा रहे एफआईआर - 
ग्रामीणों के अनुसार सड़क के निर्माण में बरती गई लापरवाही एवं भ्रष्टाचार के खिलाफ वे एकजुट होकर कार्रवाई एवं एफआईआर के लिए योजना बना रहे हैं। मंत्री राजेश मूणत के फेसबुक वाल पर हुए पोस्ट पर आपत्ती जताते हुये ग्रामीणों ने कहा की पहले मंत्री मूणत खुद सड़क के गुणवत्ता एवं निर्माण के बारे में अवगत हो जाए उसके बाद ही कुछ पोस्ट करें। ग्रामीणों का कहना है कि मंत्री राजेश मूणत के द्वारा उनके विभाग का सड़क निर्माण की पोस्ट डालने से इस बात का प्रमाण मिल रहा है कि ठेकेदार व विभागीय अधिकारीयों की मंत्री से सांठगांठ है। वहीं सन्ना ग्राम पंचायत के सरपंच का कहना है कि इस क्षेत्र के आदिवासियों के साथ हमेशा से ही सौतेला व्यवहार किया जाता रहा है। सन्ना से जशपुर तक 32 किलोमीटर तक सड़क तो बननी है लेकिन मात्र 14 किलोमीटर तक ही सड़क बन पायी है, जबकि मंत्री जी के द्वारा 32 किलेमीटर सड़क का मनोरम दृश्य फेसबुक पर पोस्ट किया गया है, जो सरासर गलत है क्योंकि ये फोटो सन्ना जशपुर मार्ग की है ही नहीं। 
     
गुणवत्ता विहीन सड़क का नवनिर्माण - 
सन्ना से जशपुर के मध्य 32 किलीमीटर के सड़क का निर्माण कार्य लोक निर्माण विभाग के द्वारा स्वीकृत हुआ है। जिसका निर्माण कार्य संबंधित ठेकेदार के द्वारा प्रारंभ किया गया है। ग्रामीणों के अनुसार ठेकेदार के द्वारा उक्त सड़क के निर्माण में घटिया सामग्री के साथ-साथ उचित मापदंडों का उपयोग नहीं किया जा रहा है जिस कारण सड़क गुणवत्ताविहीन तरीके से बन रही है। जिसको लेकर ग्रामीण पहले ही नाराज थे और सड़क के गुणवत्ता विहीन निर्माण के संबंध में आवाज उठाने की योजना बना रहे थे, इसी दौरान पीडब्लूडी मंत्री के फेसबुक पर ये पोस्ट आ गई। पोस्ट आने के बाद से क्षेत्र के ग्रामीणों में रोष व्याप्त है। 

मंत्री के पीआरओ सफाई दे रहे - 
जबकि विभाग के उच्चाधिकारी एवं मंत्री के पीआरओ का कहना है कि संभवत पीडब्लूडी मंत्री राजेश मूणत को गलत सूचना दी गई है या होगी जिसके चलते ऐसा हो गया होगा। वरना कोई क्यों खुद को सवालों के कटघरे में खड़ा करना चाहेगा।