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भारत में फिर लौटा पोलियो ? UP में मिले 200 संदिग्ध मामले

बरेली 20 जून 2015. भारत को पोलियो फ्री घोषित करने के करीब एक साल बाद ही यूपी में पोलियो जैसे लक्षणों वाले 200 से ज्यादा केस पाए गए हैं । उत्तर प्रदेश के बरेली जिले की तहसीलों में सामने आए केसों से राज्य के स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मच गया है। बहेड़ी, मीरगंज, फरीदपुर और नवाबगंज समेत दूसरी तहसीलों के इन सैंपल को अब आगे की जांच के लिए मुंबई की सेंट्रल लैबरेटरी भेजा गया है।
इसके साथ ही अधिकारियों को ये भी बता दिया गया है कि पांच से 15 साल की उम्र के बच्चों में पैरालिसिस और हाथ-पांव की मांसपेशियों के कमजोर होने की शिकायत है। बरेली की कुछ तहसीलों में डॉक्टरों की एक टीम को प्राथमिक और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर जांच के दौरान कथित पोलियो के ताजे मामले मिले। इन डॉक्टरों ने WHO अधिकारियों को सूचित किया और उन्होंने 208 बच्चों के सैंपल लेकर मुंबई की लैब में भेजे। फिलहाल, वहां से रिपोर्ट आने का इंतजार किया जा रहा है। बरेली के चीफ मेडिकल ऑफिसर विजय यादव का कहना है कि पूरे जिले में स्पेशल टीम तैनात है, जो ऐसे मामलों पर नजर रखे है। उन्होंने कहा कि हाथ-पैर कमजोर होने का मतलब यह नहीं है कि सभी बच्चे पोलियो से पीड़ित हैं, रिपोर्ट से ही सब साफ हो सकेगा। उन्होंने कहा कि बरेली में पोलियो का आखिरी केस 2009 में भामपुरा गांव में मिला था। यूपी में पोलियो का आखिरी केस 2010 में फिरोजाबाद जिले में दर्ज किया गया था। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के नियम के मुताबिक किसी भी देश से किसी बीमारी के उन्मूलन के लिए वहां तीन सालों तक उस बीमारी का कोई मरीज नही मिलना चाहिए। कई सालों के अभियान के बाद भारत में भी पोलियो का कोई नया मामला नहीं पाया गया था। आखिरी बार 2011 में पश्चिम बंगाल के हावड़ा जिले में 18 महीने की रुखसार को पोलियो पीड़ित पाया गया था। इसके तीन साल बाद भारत को पोलियो मुक्त देश घोषित कर दिया गया था। WHO ने 2015 में यूपी से 5,551 सैंपल लिए हैं, जिसमें से ज्यादातर नेगेटिव मिले हैं, 787 मामलों में रिपोर्ट आने का इंतजार किया जा रहा है।

(IMNB)