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रूस के साथ प्रगाढ़ संबधों के लिए प्रतिबद्ध है भारत - प्रणव

नयी दिल्ली 11 मई 2015. राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने रूस के साथ दीर्घकालिक घनिष्ठ सबंधों का जिक्र करते हुए कहा है कि भारत इसे और मजबूत बनाए जाने के लिए प्रतिबद्ध है। राष्ट्रपति ने मॉस्को स्टेट यूनिवर्सिटी में भारतीय एवं रूसी विश्वविद्यालयों की एक बैठक को संबोधित करते हुए कहा, ‘हमारी शैक्षणिक एवं शोध संस्थाएं इन महत्वाकांक्षी राष्ट्रीय लक्ष्यों और हमारे लोगों की आकांक्षाओं को प्राप्त करने के लिए ठोस प्रयास कर रही हैं।’
उन्होंने कहा कि इसमें गुणवत्तापूर्ण शिक्षा की पहुंच में विस्तार, शोध क्षमता में बढ़ोत्तरी और शोध के परिणामों को औद्योगिक जरूरतों से ज्यादा करीबी से जोड़ना शामिल है। प्रणब ने कहा कि वैज्ञानिक सहयोग के द्विपक्षीय कार्यक्रमों से भारत और रूस को लाभ हुआ है और इसमें 1987 का एकीकृत दीर्घकालिक कार्यक्रम भी शामिल है जिसके तहत संयुक्त उत्कृष्टता केंद्रों के साथ-साथ आपसी शोध समर्थन कार्यक्रमों की स्थापना हुई। हालिया सालों में भारत और रूस ने बुनियादी विज्ञान एवं स्वास्थ्य शोध जैसे क्षेत्रों में नए सहयोग कार्यक्रमों की शुरुआत की है।